
इस वक्त देश में हर तरफ चुनावी माहौल बना हुआ है देश के 5 राज्यों में चल रहे विधानसभा चुनावों के लिए राजनीतिक पार्टियों द्वारा बढ़-चढ़कर चुनाव प्रचार किया जा रहा है। जहां कुछ राज्यों में भारतीय जनता पार्टी के जीतने के आसार बन रहे हैं। वहीं कई राज्यों में भारतीय जनता पार्टी को करारी हार का सामना करना पड़ सकता है। बताया जाता है कि केंद्र सरकार द्वारा लाए गए नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ सबसे पहले किरण विधानसभा में इसके खिलाफ एक प्रस्ताव पारित किया गया था। जिसमें विवादित कानून को निरस्त किए जाने की मांग की गई थी। पांच राज्यों में चल रहे विधानसभा चुनाव में केरल में शामिल है।
Amit Shah
जहां नागरिकता संशोधन कानून लागू करने को लेकर एक तरफ भाजपा दावा रही है। वहीं राज्य के मुख्यमंत्री पिन्नाराई विजयन बार-बार यह दोहरा रहे हैं कि उनकी सरकार राज्य में नागरिकता संशोधन कानून को लागू नहीं होने देगी। उनका आरो’प है कि यह कानून देश में रह रहे अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों के खिलाफ भे’दभा’वपूर्ण वाला कानून है। माना जा रहा है कि अब नागरिकता संशो’धन कानून को लेकर चल रही बहस के बीच भाजपा को केरल में नुक’सान होने वाला है।

Pinnarai Vijayan
दरअसल सर्वे में भी सामने आया है कि केरल के मु’सलमा’नों का वोट बैंक सीपीआईएम के पक्ष में ही है। जबकि भाजपा को केरल में मुंह की खानी पड़ सकती है। दरअसल केरल विधानसभा चुनाव में राजनीतिक प्रचार अभियान के अंतिम चरण में पहुंचने के साथ ही भाजपा के केंद्रीय नेताओं सीएए को हवा दे दी है। जिसके बाद ये राज्य की रानजीति के केंद्र में आ गया है। रविवार को पार्टी के वरिष्ठ नेता और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने दावा करते हुए कि पार्टी सत्ता में आते ही सीएए कानून को लागू करेगी और मुस्लिम महिलाओं की शादी की सुरक्षा के लिए तीन तालक के खिलाफ कानून लाएगी।

Narendra Modi- Amit Shah
राजनीतिक जानकारों का मानना है कि सीएए लागू करने के भाजपा नेताओं के बयान और दावों से खुद पार्टी को बड़ा नुकसान होगा। क्योंकि, राज्य का एक बड़ा वर्ग इस कानून के विरोध में खड़ा रहा है और है। बताया जाता है कि चुनाव से पहले किए गए सर्वे के मुताबिक सत्तारूढ़ दल सीपीएम के नेतृत्व वाले लेफ्ट डेमोक्रेटिक फ्रंट (एलडीएफ) के लिए दूसरे कार्यकाल में सीएम पिनाराई विजयन की मजबूत छवि बनी है जो विरोधी पर भारी पड़ सकता है।